क्या यह ISRO सैटेलाइट भारत पर गिर सकता है? जानिए सच्चाई!

29 जनवरी 2025 को ISRO (भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन) ने एक नया सैटेलाइट NVS-02 लॉन्च किया। लेकिन एक तकनीकी खराबी के कारण यह अपने सही स्थान तक नहीं पहुँच पाया। अब कई लोग पूछ रहे हैं:
“क्या यह सैटेलाइट वापस धरती पर गिर सकता है और भारत के लिए खतरा बन सकता है?”
आइए आसान भाषा में समझते हैं कि क्या हो रहा है और क्या हमें सच में चिंता करने की जरूरत है।
क्या हुआ है सैटेलाइट के साथ?
ISRO ने NVS-02 सैटेलाइट को सफलतापूर्वक लॉन्च किया और यह अंतरिक्ष में पहुँच गया। लेकिन इसके एक छोटे वॉल्व (valve) में खराबी आ गई।
- यह वॉल्व ईंधन (fuel) को नियंत्रित करता है, जिससे सैटेलाइट ऊँचाई पर जा सके।
- खराबी के कारण, सैटेलाइट अपनी सही कक्षा (orbit) तक नहीं पहुँच सका और एक निचली कक्षा में फँस गया।
- लेकिन यह अभी भी अंतरिक्ष में सुरक्षित है और ज़मीन की ओर नहीं गिर रहा है।

क्या यह सैटेलाइट धरती पर गिर सकता है?
संक्षेप में जवाब है – नहीं!
1. सैटेलाइट अभी भी अंतरिक्ष में घूम रहा है
भले ही यह अपनी अंतिम कक्षा तक नहीं पहुँचा, लेकिन यह अभी भी धरती के चारों ओर घूम रहा है। यह किसी पत्थर की तरह सीधा नीचे नहीं गिर रहा।
2. अंतरिक्ष में चीज़ें सीधे नहीं गिरतीं
अगर आप कोई चीज़ हाथ से छोड़ते हैं, तो वह ज़मीन पर गिरती है। लेकिन अंतरिक्ष में चीज़ें गिरती नहीं, बल्कि घूमती रहती हैं क्योंकि वहां बहुत कम गुरुत्वाकर्षण (gravity) होता है।
3. अगर इसे ठीक नहीं किया गया तो क्या होगा?
अगर ISRO इसे ठीक नहीं कर पाता, तो यह दो चीज़ों में से एक हो सकता है:
- यह लंबे समय तक अंतरिक्ष में घूमता रहेगा और “स्पेस कबाड़” (space debris) बन सकता है।
- या फिर धीरे-धीरे नीचे आ सकता है, लेकिन इसमें कई साल लग सकते हैं।
4. अगर यह धरती पर आया, तो क्या यह भारत पर गिरेगा?
ऐसा होना बहुत मुश्किल है। जब सैटेलाइट धरती के वायुमंडल (atmosphere) में प्रवेश करेगा, तो:
- यह तेज़ गर्मी और घर्षण (friction) के कारण जल जाएगा।
- इसका ज्यादातर हिस्सा राख में बदल जाएगा और धरती तक नहीं पहुंचेगा।
- अगर कोई छोटा हिस्सा बचा भी, तो वह महासागर में गिरने की संभावना ज्यादा है, क्योंकि धरती का 70% हिस्सा पानी से ढका हुआ है।
ISRO अब क्या कर रहा है?
ISRO के वैज्ञानिक इस समस्या को सुलझाने की कोशिश कर रहे हैं। अगर वे वॉल्व को ठीक कर पाए, तो सैटेलाइट अपने सही स्थान पर पहुँच सकता है। लेकिन अगर इसे ठीक नहीं किया जा सका, तब भी यह कोई बड़ा खतरा नहीं है।
क्या हमें चिंता करनी चाहिए?
बिल्कुल नहीं! 🚀
इस तरह की तकनीकी दिक्कतें अक्सर होती रहती हैं, लेकिन ISRO और दूसरी अंतरिक्ष एजेंसियों के पास ऐसी समस्याओं से निपटने के लिए सुरक्षित तरीके होते हैं।
निष्कर्ष:
✅ यह सैटेलाइट भारत पर नहीं गिरेगा।
✅ यह अभी भी अंतरिक्ष में सुरक्षित है।
✅ ISRO इसे ठीक करने में जुटा है।
इसलिए, चिंता करने की जरूरत नहीं है – आकाश नहीं गिर रहा! 🌍✨
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